News PR डेस्क। बिहार में जारी सियासी घमासान के बीच विभिन्न दलों के द्वारा घोषित उम्मीदवारों के खिलाफ उनके ही दल के कार्यकर्ताओं द्वारा नामांकन करने से नाराज पार्टियों द्वारा अब बागियों को दल से बाहर निकालने का सिलसिला शुरू हो गया है। इसी क्रम में भाजपा ने जहाँ अपने 9 नेताओं को बाहर का रास्ता दिखाया है। साथ ही साथ जेडीयू ने बागी नेताओं को पार्टी से बाहर का रास्ता दिखा दिया है। बागी होकर किसी दूसरे दल या निर्दलीय चुनाव मैदान में ताल ठोक रहे लोगों को पार्टी ने 6 साल के लिए निष्कासित कर दिया है। इसको लेकर पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष की ओर से पत्र भी जारी कर दिया गया।

जेडीयू ने 15 नेताओं को 6 साल के लिए निष्कासित कर दिया है। जिसमें डुमरांव विधायक ददन पहलवान, पूर्व मंत्री रामेश्वर पासवान, पूर्व मंत्री श्री भगवान सिंह कुशवाहा, पूर्व विधायक डॉ. रणविजय सिंह, पूर्व विधायक सुमित कुमार सिंह, पूर्व प्रदेश अध्यक्ष महिला प्रकोष्ठ कंचन कुमारी गुप्ता, अति पिछड़ा वर्ग आयोग के पूर्व सदस्य प्रमोद सिंह चंद्रवंशी, युवा जदयू के पूर्व कोषाध्यक्ष अरूण कुमार, जिला जदयू औरंगाबाद के पूर्व संयोजक तजम्मुल खां, रोहतास के पूर्व जिलाध्यक्ष शिवशंकर चौधरी, 2015 में सिकन्दरा से पूर्व प्रत्याशी सिंधु पासवान, डुमरांव से कार्यकर्ता करतार सिंह यादव, बरबीघा विधनासभा प्रभारी राकेश रंजन और चेनारी से कार्यकर्ता मुंगेरी पासवान का नाम शामिल है।
जेडीयू के प्रदेश महासचिव डॉ. नवीन कुमार आर्य ने इसकी जानकारी देते हुए बताया कि इन सभी को पार्टी विरोधी गतिविधि में शामिल होने के कारण प्राथमिक सदस्यता से 6 साल के लिए निष्कासित किया है।पार्टी की ओर से पहले इनसे सफाई की मांग की गयी। जवाब संतुष्टिपूर्ण नहीं मिंलने के कारण कार्रवाई की गयी है।