NEWSPR DESK: लंबी लड़ाई के बाद डॉक्टर नरेंद्र प्रताप सिंह को हाईकोर्ट से जीत मिल गई है. कोर्ट ने उन्हें एकबार फिर PMCH में प्राध्यापक के पद पर स्थानांतरित किया है. NEWS PR के रिपोर्टर चंद्रमोहन से बातचीत के दौरान नरेंद्र प्रताप सिंह ने बताया कि मुझे न्यायालय पर भरोसा था. न्यायायल ने मुझे सत्य पाया है, और मुझे जीत मिली है. बहुत जल्द मैं PMCH में अपना योगदान दूंगा.
पूर्व प्रधानसचिव के सामने नहीं झुके थे नरेंद्र प्रताप:-
साल 2019 में नरेंद्र प्रताप सिंह और उस समय के तत्कालीन स्वास्थ्य विभाग के प्रधानसचिव संजय कुमार के बीच तकरार की खबरें अखबारों में खूब सुर्खियां बटोरी. प्रधानसचिव ने नरेंद्र प्रताप सिंह को अपने आगे झुकाने के लिए कई सरकारी हथकंडे अपनाए फिर भी नरेंद्र प्रताप नहीं झुके. बाद में नरेंद्र प्रताप को एक पुराने मामले में आधार बनाकर सस्पेंड कर दिया गया.
IMA ने भी नहीं दिया साथ:-
नरेंद्र प्रताप सिंह और प्रधानसचिव के बीच जब तकरार की खबरें आईं, तो IMA ने भी पल्ला झाड़ लिया. IMA के अध्यक्ष ने कुछ भी बोलने से इनकार कर दिया. हालांकि IMA के सदस्य डॉ. सचिदानन्द नरेंद्र प्रताप सिंह के साथ खड़े रहे, समर्थन में व्यक्तिगत तौर पर अधिकारियों को भी लेटर लिखा.
गौरतलब है कि नरेंद्र प्रताप सिंह PMCH के सीनियर डॉक्टर है. वरिष्ठता के आधार पर नरेंद्र प्रताप सिंह ही प्रिंसिपल के लिए योग्य हैं, बहरहाल उन्हें प्राध्यापक बनाया गया है.
पटना से चंद्रमोहन की रिपोर्ट