NEWSPR डेस्क। CPIML के महासचिव दीपांकर भट्टाचार्य एक दिवसीय दौरे पर मोतिहारी पहुंचे। यहां उन्होंने महान स्वतंत्रतता सेनानी बत्तख मियां को श्रद्धांजलि दी। आज उनकी जयंती है। उन्होंने अंग्रजी हुकुमार के आदेश को दरकिनार करते हुए महात्मा ग़ांधी को जहर खिलाने से इनकार करने के बाद मौत की सजा को हंसते हंसते स्वीकार किया था। दीपांकर भट्टाचार्य ने उनके पैतृक गांव जाकर उनकी 64वी जयंती के अवसर पर उन्हें श्रद्धासुमन अर्पित किया और उनके अमूल्य कृतियों को याद किया ।उसके बाद दीपांकर भट्टाचार्य मोतिहारी के ऐतिहासिक ग़ांधी स्मारक में आयोजित एक कार्यक्रम में शिरकत की ओर केंद्र और राज्या सरकार पर जमकर निशाना साधा ।
दीपांकर भट्टाचार्य ने ग़ांधी स्मारक से केंद्र व राज्य सरकार पर जमकर प्रहार किया और कहा कि केंद्र सरकार गरीबों व मजलुमों के साथ किसानों पर अत्याचार कर रही है ।उन्होंने कंगना राणावत को पद्मश्री दिए जाने का पुरजोर विरोध किया व कहा कि जो महिला महात्मा ग़ांधी व लाखो शहीदों का अपमान करती हो सरकार उसी को पद्मश्री दे रही है ।जिसे आज़ादी का abcd मालूम नहीं वो राष्ट्रपति के हाथों पद्मश्री हासिल करती है जो हास्यस्पद है । भट्टाचार्य ने महामहिम राष्ट्रपति से कंगना से पद्मश्री वापस लेने की मांग की ।साथ ही उन्होंने किसानों के मुद्दे पर भी केंद्र सरकार पर प्रहार किया और कहा कि एक साल के आंदोलन के बाद किसानों को एक बड़ी जीत हासिल हुई है। अब किसानों को एमएसपी का हक व कानून भी मिलना ही चाहिये ।उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार के कुछ सांसद गोडसे व सावरकर को अपना आदर्श मानते हैं जो कि हास्यास्पद है ।ग़ांधी व गोडसे का नाम एक साथ नहीं लिया जा सकता।
दीपांकर भट्टाचार्य ने बिहार में शराबबंदी को लेकर नीतीश कुमार पर भी निशाना साधा। उन्होंने कहा कि नीतीश कुमार की शराबबंदी एक बहुत बड़ा धोखा है ।उनकी शराबबंदी पूरी तरह फेल है। शराब माफिया पनप रहे हैं और निर्दोष गरीब मजदूर जेल की हवा खा रहे हैं।।नीतीश सरकार सभी मोर्चो पर फेल है और जनता को सिर्फ धोखा मिल रहा है।
मोतिहारी से धर्मेंद्र कुमार की रिपोर्ट