NEWSPR डेस्क। तमिलनाडु के कुन्नूर में एक घने जंगल से गुजरने के दौरान हेलीकॉप्टर दुर्घटना में जान गंवाने वाले CDS जनरल बिपिन रावत, उनकी पत्नी मधुलिका रावत का आम शाम 4 बजे अंतिम संस्कार होगा। 8 दिसंबर को हुए इस हादसे में जान गंवाने वालों में ब्रिगेडियर एलएस लिद्दर भी शामिल रहे, जिनका अंतिम संस्कार शुक्रवार को बरार स्क्वायर श्मघाट में संपन्न हो गया। इस बीच जनरल रावत और उनकी पत्नी मधुलिका रावत का पार्थिव शरीर उनके आवास पर लाया गया है, यहां केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने उन्हें श्रद्धांजलि दी। जनरल बिपिन रावत के साथ-साथ उनकी पत्नी मधुलिका रावत के पार्थिव शरीर को सुबह 11 बजे अंतिम दर्शन के लिए रखा गया है। दोपहर साढ़े 12 बजे तक गणमान्य लोग उन्हें श्रद्धांजलि देंगे। दोपहर साढ़े 12 बजे से 2 बजे तक सैन्य अफसर उन्हें अंतिम विदाई देंगे। दोपहर 2 बजे के बाद उनकी अंतिम यात्रा शुरू होगी। जनरल रावत की अंतिम यात्रा पूरे सैन्य सम्मान के साथ निकाली जाएगी और इसके लिए जो इंतजाम किया जा रहा है, वो भी अभूतपूर्व होगा।
बिपिन रावत के पार्थिव शरीर को गन कैरिएज यानि तोप वाली गाड़ी में रखा जाएगा। अंतिम यात्रा में जनरल के साथ उनकी पत्नी का भी पार्थिव शरीर होगा। ये अंतिम सफर उनके आवास से दिल्ली कैंट के बरार स्क्वॉयर तक का होगा। सेना के आधिकारिक श्मशान बरार स्क्वॉयर में उनका अंतिम संस्कार किया जाएगा। एक दिन पहले जब जनरल बिपिन रावत और उनकी पत्नी मधुलिका समेत सभी 13 लोगों के शव दिल्ली लाए गए तो उनके परिवारवालों को देखकर हर किसी की आंखों में आंसू थेय़
जनरल बिपिन रावत की दोनों बेटियां कीर्तिका और तारिणी खुद को संभाले हुए चुपचाप वहां खड़ी थीं। लेकिन अपने माता-पिता को एक साथ खो देने का ग़म क्या होता है, ये हर कोई कहां समझ सकता है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी उन्हें श्रद्धांजलि देने खुद पहुंचे थे। उनकी आंखों में भी सूनापन साफ नजर आ रहा था। परिवार के बुजुर्ग की तरह उन्होंने जनरल रावत की बेटियों को ढांढस बंधाया और ये भरोसा दिया कि पूरा देश हमेशा उनके साथ है। आज पूरा देश जनरल रावत को श्रद्धांजलि दे रहा है। मन में इस अहसास के साथ कि वो हमेशा हमारी यादों में रहेंगे और उनके शौर्य की कहानियां पीढ़ियों तक याद रखी जाएंगी।