वैश्विक शिव शिष्य परिवार के तत्वावधान में वरेण्य गुरु भ्राता इस काल खंड के प्रथम शिव शिष्य साहब श्री हरीद्रानन्द जी के ७५ वा अवतरण दिवस शिव शिष्यता के संकल्प दिवस के रूप में मनाया गया इस अवसर पर उमेश जी ने कहा की आज का ये दिन शिव शिष्यता को जन मानस में व्यापत करने का उद्देश्य लेकर आया साहब श्री हरिंद्रानन्द जी इस धरा धाम पर अवतरित हुए अब ७५ वर्ष हुए हम सब अमृत दिवस के रूप में याद करेंगे और शिव शिषयता रूपी अमृत पूरे सृष्टि को पिलाने का काम करेंगे यही साहब श्री अवतरण दिवस का उपहार होगा साहब श्री ने अपने जीवन में शिव शिष्यता को व्यापक रूप देने में लगा दिया और शिव की इच्छा के अनुसार हरेक इंसान महादेव का शिष्य बन कर अपना जीवन सार्थक बना ले साहब के शब्दों में शिव ही गति गनताव्य और गुरु है।
बनो तो शिव रहो तो शिव जिओ तो शिव शिव का गुरु होना बोधात्मक है वागात्मक नहीं शिव गुरु बुद्धि जनित विचारों का बढ़ी में रूपांतरित करती है।
इस आयोजन में शामिल हुए अजय गुप्ता बिकाश श्रीवास्तव प्रमोद शिव शंकर देव कुमार रणजीत सिंह दीपक केशरी बिजय तिवारी अमरजीत नीलम रूबी अंशु मंजु ललन प्रसाद आदी की भूमिका सराहनीय रही।