आपने सतयुग के कथाओं में श्रवण कुमार का नाम तो सुना ही होगा जिसने अपने मां -पिता को बहंगी में बिठा चलते थे । पर आज हम आपको कलयुग के श्रवण कुमार से मिलते है जो बहंगी में अपनी बूढ़ी मां को बैठा बाबाधाम की यात्रा पे निकले है ।
पूरा मामला बिहार के मुंगेर का है जहां बाबाधाम जाने वाले मार्ग में 26 किलोमीटर कच्ची कांवरिया पथ मुंगेर जिला अंतर्गत पड़ता है। और इस कच्ची कांवड़िया पथ पर शिव भक्ति के अनूठे से अनूठे भक्त देखने को मिल जाते जिनकी भक्ति देख मुंह से बह यही निकला यह की भक्त हो ऐसा ही ।ये ही एक उदाहरण देखने मिला मानो हम सतयुग में आ गए हो । दरअसल खगड़िया जिला निवासी पवन साह बिहारी अपने सहयोगी कैलाश मंडल के सहयोग से अपनी बूढ़ी मां शोभा देवी को बहंगी में बिठा सुल्तानगंज से गंगा जल भर मुंगेर के कच्ची कांवरिया पथ होते बाबाधाम जाते दिखे ।
जिसे देख हर किसी को श्रवण कुमार की याद ताजा हो जाती है । पवन ने बताया कि वह 21 जुलाई को ही अपनी मां को बहंगी में बिठा खगड़िया से निकले है। अब कब तक देवघर पहुंच जाए ये कहा नहीं जा सकता है । साथ ही बताया कि उनकी कोई मन्नत नहीं है मां को बाबाधाम जाना था पर पैदल वो का नहीं सकती थी इस कारण वे बहंगी में बिठा अपने सहयोगी के मदद से कंधे पर बिठा बाबाधाम के लिए निकल पड़े । वहीं उनकी बहंगी पर बैठी बूढ़ी मां ने बताया कि वो अपने बेटा के कंधे के बहंगी में बैठ बाबाधाम जा रही है। साथ ही कहा कि भगवान करे ऐसा बेटा सभी मातापिता को दे ।