मानवता हुई शर्मसार, घंटों तड़पता रहा और इलाज के अभाव में हो गई युवक की मौत

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By PR Desk

डीएन मौआर

औरंगाबादः जिले से मानवता को शर्मसार करनेवाली घटना सामने आई है। यहां सड़क दुर्घटना में घायल युवक घंटों तक अस्पताल में बेड पर पड़ा रहा, लेकिन किसी ने उसकी सुधी नहीं ली, नतीजा यह हुआ कि इलाज के अभाव में युवक की मौत हो गई। हालत यह थी कि मौत के बाद भी अस्पताल में किसी को इसके बारे में जानकारी नहीं हुई।

मामले में बताया गया कि जिले के मदनपुर एनएच दो पर मिठाईया मोड़ के पास एक अज्ञात युवक घायल अवस्था मे पाया गया। जिसे मदनपुर पुलिस के पेट्रोलिंग पार्टी ने उठाकर इलाज के लिये मदनपुर प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में भेज दिया था। लेकिन युवक घायल अवस्था मे घण्टो पेट के बल पड़ा रहा। लेकीन कोई भी चिकित्सक उसे देखने तक नही आया इसी दौरान युवक की कब मौत हो गई। यह भी हॉस्पिटल के कोई कर्मचारी तक को पता नही था। जब कुछ ग्रामीणों ने उसे देखा तो वह मृत अवस्था मे पड़ा हुआ था।

शव को बाहर फेंका, जवाब देने से बचते नजर आए सीएस

अपनी गलतियों पर पर्दा डालने के लिए स्वस्थ्य कर्मचारियों के द्वारा उसके बेड पे पानी के बॉटल और कुछ दवाइया भी बेड पर रख दिये गये। यह केवल मीडिया की कैमरा से बचने के लिये किया गया और अन्ततः शव को प्रभारी के निर्देश पर बाहर फेंक दिया गया। इसकी सूचना मिलते ही एक पत्रकार का टीम हॉस्पिटल पहुचा तो प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी मदनपुर के द्वारा मीडिया को फोटो तथा वीडियो भी बनाने पर रोक लगाया गया। जब इस बिन्दु पर औरंगाबाद के सिविल सर्जन से बात किया गया तो उसने भी कुछ कहने से इनकार किया। इससे यह साफ जाहिर होता है कि अब बिहार में आम इंसान की जीवन सुरक्षित नही है।

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