NEWSPR डेस्क। बिहार में आज से मैट्रिक परीक्षा कदाचारमुक्त कराने को लेकर सरकार के दावे की पोल खुल गई। बता दें कि मोतिहारी में प्रथम पाली की परीक्षा शुरू होने से एक घण्टे पहले सोशल मीडिया पर प्रश्नपत्र वायरल हो गया। सोशल मीडिया पर प्रश्नपत्र देखने के लिए परीक्षा केंद्र के बाहर व शहर में भीड़ उमड़ी।
वायरल प्रश्नपत्र के जवाब का फोटोस्टेट लेकर परिजन परीक्षार्थियों तक पहुंचते नजर आए। वहीं कुछ लोग इसे अफवाह बताकर इसपर ध्यान नहीं दिए। प्रथम पाली की परीक्षा समाप्त होने पर प्रथम दृष्टया वायरल प्रश्नपत्र सही पाया गया। सोशल मीडिया पर वायरल प्रश्नपत्र पर संज्ञान लेते हुए डीएम ने त्वरित जांच टीम का गठन किया। हालांकि प्रशासन परीक्षा को कदाचारमुक्त व शांतिपूर्ण होने का दवा कर रही है।
इंटर की परीक्षा के प्रथम दिन गाड़ी की लाइट जलाकर परीक्षा होने की भद पीटने में अभी जांच चल रही रही थी कि दूसरा मामला मैट्रिक की परीक्षा के प्रथम दिन प्रथम पाली में परीक्षा शुरू होने के लगभग एक घंटा पहले ही प्रश्नपत्र सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो गया। समय से पूर्व होने के कारण प्रश्नपत्र परीक्षार्थियों तक पहुंच गया। कुछ लोग अफवाह समझ रहे थे लेकिन प्रथम पाली की परीक्षा समाप्त होने के बाद वायरल प्रश्नपत्र सही पाए जाने पर प्रशासन में हड़कंप मच गया।
आखिर जब प्रश्नपत्र परीक्षा केंद्र पर निर्धारित समय पर मजिस्ट्रेट व केंद्राधीक्षक की उपस्थिति में खुलती है तो समय से पहले मार्केट में कैसे पहुंच गया। हालांकि सोशल मीडिया पर प्रश्नपत्र वायरल होने के बाद डीएम शीर्षत कपिल अशोक ने संज्ञान लेते हुए तीन सदस्यीय जांच कमिटी के गठन किया है। मोतिहारी सदर एसडीओ ने सदर अनुमंडल के सभी परीक्षा केंद्रों पर प्रथम पाली की परीक्षा कदाचारमुक्त व शांतिपूर्ण होने का दवा किया है।
उन्होंने बताया कि वायरल प्रश्नपत्र प्रशासन को 8.53 बजे मिला। जबतक परीक्षार्थियों को परीक्षा हॉल में बिठाया जा चुका था। वायरल प्रश्नपत्र में 16 प्रश्न थे। वाइरल प्रश्नपत्र सही था। उन्होंने बताया कि प्रश्नपत्र वायरल होने ही जांच साइबर सेल सहित स्तर से किया जा रहा है। जांच में दोषी पाए जाने वाले पर कठोर कार्रवाई की जाएगी।
मोतिहारी से धर्मेंद्र की रिपोर्ट