इन दोनों रोहतास पुलिस अपने कारनामों के लिए लगातार सुर्खियों में है। ताजा मामला दरिहट थाना क्षेत्र से जुड़ा हुआ है। जहां एक नाबालिक को हाथ में हथकड़ी पहनकर पुलिस दिनभर घूमाती रही। जुवेनाइल जस्टिस केयर एंड प्रोटक्शन एक्ट-2015 का यह उलंघन हैं। लेकिन रोहतास पुलिस अपनी कार्यशैली के लिए लगातार चर्चा में है। दरिहट के इस ताजा मामले में बताया जाता है कि 29 दिसंबर 2022 को मध निषेध कानून के उल्लंघन के मामले में पुलिस द्वारा एक FIR किया गया था। इस फिर के तहत दरिहट के नंद टोला हुरका से एक 17 वर्षीय किशोर को गिरफ्तार किया गया। साथ में एक अन्य वयस्क कैदी को भी पकड़ा गया। बड़ी बात यह है कि वयस्क कैदी और नाबालिक को एक ही रस्से में लगे हथकड़ी से बांधकर गांव से थाना लाया गया। जिसके बाद वहां से जिला मुख्यालय सासाराम लाकर सदर अस्पताल में कोविड जांच करवाई गई। फिर उसे जुवेनाइल कोर्ट में प्रस्तुत किया गया और बाल सुधार गृह में भेज दिया गया। नाबालिक कैदी का उम्र 17 वर्ष बताया जाता है। जिसे हथकड़ी लगाकर पुलिस दिनभर घूमती रही। सदर अस्पताल में स्वास्थ्य जांच करने वाले डॉ. बृजेश कुमार ने बताया कि नाबालिक की उम्र मात्र 17 साल हैं। अब सवाल उठता है कि जब पुलिस यह जा रही थी कि नाबालिक है। और उसे जुवेनाइल कोर्ट में प्रस्तुत भी किया गया। तो किस परिस्थिति में नाबालिक को हथकड़ी लगाकर दिन भर सामान्य कैदियों की तरह घुमाया गया। यह पूरा मामला जुवेनाइल जस्टिस केयर एंड प्रोटक्शन अधिनियम 2015 का उल्लंघन है। तस्वीरों में देख सकते हैं कि ब्लू शर्ट में पहनना नाबालिक सामान्य कैदी के साथ हथकड़ी लगाकर पुलिस के गाड़ी में बैठ रहा है।