वन एवं पर्यावरण मंत्री प्रेम कुमार ने दिया आश्वासन वानिकी महाविद्यालय मे जल्द होगी शिक्षको की बहाली

Patna Desk

NEWSPR DESK :- मुंगेर में देश का दूसरा और बिहार का पहला वानिकी महाविद्यालय उद्घाटन के बाद अपने यहां शोध करने वालों और उस शोध में सहायता प्रदान करने वालों शिक्षकों का कर रहा इंतजार । पठन पाठन का कार्य नहीं होने के कारण अपने अस्तित्व को खोता दिख रहा वानिकी महाविद्यालय ।  वन एवं पर्यावरण मंत्री प्रेम कुमार के आश्वासन के बाद आस जगी कि इस महाविद्यालय में जल्दी ही जल्द से जल्द शुरू हो पाएगा ।

वास्तुकला का अद्भुत नमूना मुंगेर का वानिकी महाविद्यालय आज प्रशासनिक तंत्रों को मुंह चिढ़ाने का काम कर रहा है । नवनिर्मित वानिकी महाविद्यालय उद्घाटन के एक साल छः माह बीत जाने के बाद भी इसमें शुरू नहीं हो सका है पठन पाठन सहित शोध का कार्य । जानकारी के अनुसार जिले के नन्दलालपुर और एप्रोच पथ के सटे 96 एकड़ में 231 करोड़ 83 लाख 32 हजार रुपए से बना इस महाविद्यालय विभाग सहित क्वाटर , क्लास रूम , में ताला लटका हुआ है या कहें कि पूरा कैंपस सुनसान पड़ा है। केवल यहां घास की कटाई करने वाली कुछ महिला और सुरक्षा गार्ड नजर आते हैं। यही नहीं कॉलेज में कब से अगला पढ़ाई शुरू होगी, नामांकन की क्या प्रक्रिया है, नामांकन प्रक्रिया कब से शुरू होगी, यदि नामांकन की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है तो यह कब तक चलेगी, किन-किन विषयों की पढ़ाई होगी, नामांकन की क्या शर्तें हैं आदि के संबंध में यहां बताने वाला कोई नहीं है।

यहां पढ़ाई करने के इच्छुक छात्र-छात्राओं को जानकारी देने के लिए हेल्प डेस्क भी शुरू नहीं हो सका है। ऐसे में यहां जानकारी लेने आए छात्र मायूस होकर लौट रहे हैं। यही नहीं जानकारी लन क लिए छात्र-छात्राएं कहां से जाएं यह भी बताने वाला कोई नहीं है। ऐसे में यह महाविद्यालय सफेद हाथी बनकर रह गया है । शिक्षा विद भी मानते है कि यह जिस मकसद से वानिकी महाविद्यालय की स्थापना की गई वो मकसद ही पूरा नहीं हो रहा है । तो वहीं बिहार सरकार में वन और पर्यावरण मंत्री प्रेम कुमार ने बताया कि सरकार भी इस बात को ले कार्रवाई कर रही है कि जल्द से जल्द वानिकी महाविद्यालय में पद को सृजित करते हुए वहां पठन पाठन का कार्य को शुरू करवाया जा सके।

 

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