NEWSPR डेस्क। इक्कीसवी सदी के वैज्ञानिक युग में दुनियां जहां मंगल को फतह करने में कामयाब हुई है। वही बिहार के ग्रामीण इलाकों में अंधविश्वास का खेल आज भी जारी है। अंधविश्वास के खेल में ही औरंगाबाद के ढ़िबरा थाना क्षेत्र में एक ओझा की टांगी से काटकर हत्या कर दी गयी और शव को बान गोरेया के जंगल में फेंक दिया गया। मृतक की पहचान पक्का पर गांव निवासी परमेश्वर भुईयां के रूप में की गई है। पुलिस के मुताबिक मृतक ओझा गुणी का काम करता था। हत्यारो की पहचान हो गयी है और उनकी गिरफ्तारी के लिए छापेमारी की जा रही है।
हत्या करनेवाले लोग मृतक के गोतिया है। कहा जा रहा है कि मृतक के गोतिया के परिवार में कुछ माह पूर्व बीमारी से एक बालक की मौत हो गई थी। मौत के लिए ओझा को ही कसूरवार ठहराया जा रहा था। आरोप है कि ओझा ने ही जादू टोना कर बालक की जान ले ली थी। इस घटना के बाद से ओझा को टारगेट पर ले रखा गया था, और मौका देख जंगल में जानवर चराने गये ओझा की टांगी से काटकर हत्या कर दी गई। पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम कराने के बाद परिजनो को सौंप दिया है।