शर्मनाक! महिला के हाथ में जो ट्रे है, उसमें उसके बच्चे का शव है, बच्चे की जान बचाने से लिए खुद ऑक्सीजन सिलेंडर ढो रहा है पिता, यह है देश के स्वास्थ्य राज्य मंत्री के संसदीय क्षेत्र की हालत

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By PR Desk

बबलू उपाध्याय

बक्सरः जिले के सदर अस्पताल से ऐसी तस्वीरें सामने आई है, जिसे देखने के बाद किसी का भी दिल पसीज जाएगा। यहां एक महिला हाथ में ट्रे लेकर चल रही है। साथ में एक व्यक्ति है, जिसके कंधे पर ऑक्सीजन सिलेंडर है। यह कोई साधारण तस्वीर नहीं है। इस तस्वीर में महिला के हाथ में जो ट्रे है, उसमें एक शव है, शव उस बच्चे का, जिसे उसने कुछ घंटे पहले जन्म दिया था। लेकिन सही तरीके से इलाज नहीं मिल पाने के कारण उसकी मौत हो गई। यहां यह बतानी जरुरी है कि बक्सर देश के स्वास्थ्य परिवार कल्याण राज्य मंत्री अश्वनी चौबे के संसदीय क्षेत्र है। उनके  इलाके से एक ऐसी स्वास्थ्य व्यवस्था की तस्वीरें सामने आई हैं जिससे सहज अनुमान किया जा सकता हैं कि बिहार में स्वास्थ्य विभाग की हालात क्या है।

यह वाक्या है बक्सर के सदर अस्पताल का, जहां गुरुवार (23 जुलाई) को एक दंपत्ति अपने नवजात की प्राण रक्षा के लिए ऑक्सीजन सिलेंडर लगाए और नवजात बच्चे को ट्रे में लिए हुए डॉक्टर से दिखाने के लिए घूम रहा था। डॉक्टर ने बेड तक जाकर उन्हें देखना मुनासिब नहीं समझा और वह घंटों चक्कर काटता रहा। आखिरकार समय पर इलाज नहीं मिलने के कारण इस नवजात की मौत हो गई।  बताया जाता है कि राजपुर थाना क्षेत्र के सखुआना गांव के सुमन कुमार की पत्नी का प्रसव होना था। परिजन प्रसूता को लेकर चौसा अस्पताल पहुंचे थे। जहां से चिकित्सकों ने गंभीर स्थिति को देखते हुए सदर अस्पताल रेफर कर दिया था। हालांकि परिजन प्रसूता को लेकर चौसा स्थित किसी निजी क्लिनिक में पहुंच गए। जहां पर प्रसुता का ऑपरेशन कर प्रसव कराया गया। प्रसव के बाद नवजात की गंभीर स्थिति को देखते हुए सदर अस्पताल रेफर कर दिया। 

निजी अस्पताल की सच्चाई

परिजनों ने बताया कि उक्त निजी अस्पताल के द्वारा ऑक्सीजन सिलेण्डर लगा कर रेफर कर दिया गया था। जहां पर इलाज के दौरान नवजात की मौत हो गई थी। लेकिन जिम्मेदारी से बचने के लिए नवजात को सरकारी अस्पताल भेज दिया गया। सवाल है कि ऐसे लापरवाह निजी क्लिनिक संचालन करने वालों के खिलाफ प्रशासन कब कार्रवाई करेगा। बता दें कि इससे पूर्व भी कई ऐसे ही निजी क्लिनिकों में प्रसव के दौरान मरीजों को अपने जान से हाथ भी धोना पड़ा था।

मांगी जांच रिपोर्ट

बच्चे की मौत के बाद जिस तरह की तस्वीरें सामने आई हैं, वो अस्पताल की व्यवस्था की पोल खोल रहा है. नवजात की मौत के बाद सिविल सर्जन डॉ. जितेन्द्र कुमार ने बताया कि दोषियों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी। मामले की गम्भीरता देख बक्सर के जिलाधिकारी अमन समीर ने जाँच टीम गठित कर तत्काल रिपोर्ट माँगी हैं।

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