पौष शुक्ल पक्ष द्वादशी रात -10:23 उपरांत
त्रयोदशी
श्री शुभ संवत-2078,शाके-1943, हिजरी सन-1442-43
सूर्योदय-06:37
सूर्यास्त-05:19
सूर्योदय कालीन नक्षत्र
– रोहिणी उपरांत मृगशिरा ,योग-शुक्ल , करण-बव
सूर्योदय कालीन ग्रह विचार-सूर्य -धनु , चंद्रमा-वृष , मंगल-वृश्चिक ,बुध-मकर , गुरु-कुम्भ,शुक्र-धनु ,शनि-मकर,राहु-वृष,केतु-वृश्चिक
चौघड़िया-
प्रात: 06:00 से 07:30 तक चर
प्रातः 07:30 से 09:00 तक लाभ
प्रातः 09:00 से 10:30 बजे तक अमृत
प्रातः10:30 बजे से 12:00 बजे तक काल
दोपहरः 12:00 से 01:30 बजे तक शुभ
दोपहरः 01:30 से 03:00 बजे तक रोग
दोपहरः 03:00 से 04:30 बजे तक उद्वेग
शामः 04:30 से 06:00 तक चर
उपायःनवरात्र में माता दुर्गाजी को शहद को भोग लगाने से भक्तो को सुंदर रूप प्राप्त होता है व्यक्तित्व में तेज प्रकट होता है।
आराधनाःॐ सौम्यरुपाय विद्महे वाणेशाय धीमहि तन्नौ सौम्यः प्रचोदयात् ॥
खरीदारी के लिए शुभ समयःदोपहरः12:00 से 01:30 बजे तक लाभ
राहु काल:10:30 से 12:30 बजे तक.
दिशाशूल-नैऋत्य एवं पश्चिम