विक्रम संवत – 2078, आनन्द
शक सम्वत – 1943, प्लव
पूर्णिमांत – माघ
अमांत – पौष
वार – मंगलवार
सूर्योदय – 7:14 am
सूर्यास्त – 6:00 pm
चन्द्रोदय – 6:24 pm
चन्द्रास्त – 8:14 am
अयन – उत्तरायण
द्रिक ऋतु – शिशिर
प्रातः:06:00 से 07:30 अमृत
प्रात:07:30 से 09:00 तक काल
प्रातः 09.00 से 10.30 तक शुभ
प्रातः10:30 से 12:00 रोग
दोपहरः 01.30 से 03.00 तक उद्वेग
शामः 03.00 से 04.30 तक चर
शामः 04.30 से 06.00 तक लाभ
उपायःप्रतिदिन सुबह और शाम घर में संध्यावंदन के समय कर्पूर जरूर जलाएं।
आराधनाः“ऊँ जयन्ती मङ्गलाकाली भद्रकाली कपालिनी।दुर्गा क्षमा शिवा धात्री स्वाहा स्वधा नमोऽस्तुते”।।
खरीदारी के लिए शुभ समयः शामः 04.30 से 06.00 तक अमृत।
उपायः गुड़ खाकर पानी पीकर कार्य आरंभ करें।
आराधनाःभगवान शंकर जी की आराधना करें।
राहु काल: 07.30 से 9:00 तक.
दिशाशूल-पूर्व एवं आग्नेय
चौघड़िया
रोग – 07:14 am से 08:35 am तक
उद्बेग (वार वेला) – 08:35 am से 09:55 am तक
चर – 09:55 am से 11:16 am तक
लाभ – 11:16 am से 12:37 pm तक
अमृत – 12:37 pm से 13:57 pm तक
काल (काल वेला) – 13:57 pm से 15:18 pm तक
शुभ – 15:18 pm से 16:39 pm तक
रोग – 16:39 pm से 18:00 pm तक