बिहार विधानसभा चुनाव 2025 के पहले चरण का मतदान आज पूरे राज्य में जारी है। इस बीच मुजफ्फरपुर जिले के कांटी विधानसभा क्षेत्र से एक बेहद मार्मिक तस्वीर सामने आई है।
यहां गौरी शंकर नामक एक व्यक्ति अपने पिता के श्राद्ध कर्म के बीच मतदान केंद्र पहुंचे और वोट डाला। भावुक स्वर में उन्होंने कहा,
“बाबूजी का देहांत हुआ है, श्राद्ध और पिंडदान की प्रक्रिया चल रही है, लेकिन लोकतंत्र का कर्तव्य पहले है। इसलिए समय निकालकर पहले वोट डालने आया हूं।”
उन्होंने मतदान के बाद बताया कि अब वे घर लौटकर अपने पिता के सभी कर्मकांड पूरे करेंगे। गौरी शंकर ने कांटी के मतदाताओं से भी अपील की कि वे घर से निकलकर अपने मताधिकार का उपयोग ज़रूर करें। उनकी यह तस्वीर और बातें अब सोशल मीडिया पर खूब चर्चा में हैं।
कांटी विधानसभा: दो पूर्व मंत्री आमने-सामने
इस बार कांटी सीट पर मुकाबला बेहद दिलचस्प हो गया है।
राजद ने मौजूदा विधायक मोहम्मद इसराइल मंसूरी पर दोबारा भरोसा जताया है, जबकि एनडीए ने पूर्व मंत्री इंजीनियर अजीत कुमार को मैदान में उतारा है। पिछली बार अजीत कुमार ने निर्दलीय उम्मीदवार के तौर पर चुनाव लड़ा था।
कांटी विधानसभा का चुनावी इतिहास एक नजर में
📌 2010 का चुनाव:
इस वर्ष कांटी सीट पर जदयू और राजद के बीच सीधा मुकाबला हुआ। जदयू उम्मीदवार अजीत कुमार ने 8415 वोटों के अंतर से जीत दर्ज की। उन्हें 39,648 वोट मिले, जबकि राजद प्रत्याशी मो. इजराइल को 31,233 वोट मिले।
वोट शेयर के हिसाब से अजीत कुमार को 32%, जबकि राजद उम्मीदवार को 25% मत मिले थे।
📌 2015 का चुनाव:
इस बार मुकाबला त्रिकोणीय हो गया। अजीत कुमार ने हिंदुस्तान आवाम मोर्चा (सेक्यूलर) के टिकट पर चुनाव लड़ा, जबकि राजद ने मो. परवेज आलम को उतारा।
लेकिन नतीजों में चौंकाने वाला मोड़ आया — निर्दलीय उम्मीदवार अशोक कुमार चौधरी ने लगभग 9,275 वोटों के अंतर से जीत दर्ज की।
अशोक को 58,111 वोट, अजीत कुमार को 48,836 और राजद उम्मीदवार को 47,050 वोट मिले।
मत प्रतिशत में अशोक चौधरी 32%, अजीत कुमार 27% और परवेज आलम 26% मत हासिल कर सके।
📌 2020 का चुनाव:
पिछले चुनाव में आरजेडी ने वापसी की। इस बार पार्टी के उम्मीदवार मोहम्मद इजराइल मंसूरी ने जीत दर्ज की। उन्हें 64,458 वोट मिले, जबकि निर्दलीय अजीत कुमार को 54,144 वोट के साथ दूसरा स्थान मिला। इस चुनाव में कांटी में 63.18% मतदान हुआ था।