BREAKING- बिहार स्वास्थ्य विभाग की करतूत देखिए, मृत डॉक्टर को ही बना दिया सिविल सर्जन, विधानसभा में उठा मामला

Sanjeev Shrivastava

NEWSPR DESK- बिहार सरकार भी हद है साहब पोस्ट भी बिहार में मिल जाता है चलिए बात करते हैं मृतक डॉक्टर की सिविल सर्जन पद पर पोस्टिंग किए जाने का मामला आपको बता दें कि मंगलवार को बिहार विधानमंडल में जोरदार ढंग से उठाया गया इस मुद्दे को विपक्ष ने जमकर उछाला और स्वास्थ्य विभाग पर सवाल भी खड़ा कर दिया.

आपको बता दें कि विधानसभा परिसर में भी इस मामले पर राजद कांग्रेस और मार्ले विधायकों ने तीखी प्रतिक्रिया दी है या मामला दोनों सदनों में गरमाया रहा.

वहीं विपक्षी सदस्यों ने बताया कि फरवरी में ही डॉक्टर रामनारायण राम का निधन हो गया था जो बिक्रमगंज में कार्यरत हैं उनकी पोस्टिंग 8 मार्च को शेखपुरा सिविल सर्जन के रूप में कर दी गई है स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडे ने माना कि यह गंभीर विषय है विधान परिषद में उन्होंने कहा कि इस लापरवाही के लिए संबंधित सेक्शन ऑफिसर सहित अन्य पदाधिकारियों से जवाब तलब किया गया है.

राजद के विधायक ललित यादव ने शून्यकाल में इस मामले को उठाया तो पूरा विपक्ष खड़े होकर उनका समर्थन किया विधान परिषद में राजद के सुबोध राय ने सदन की कार्रवाही शुरू होते ही यह मामला उठाया कहा कि बेहद गंभीर बात है कि चिकित्सा पदाधिकारी राम नारायण राम को राज्य सरकार ने शेखपुरा के सिविल सर्जन के रूप में तैनात की अधिसूचना जारी की है जबकि उनकी मौत फरवरी में ही कोरोना से हो चुकी है.

स्वास्थ्य मंत्री ने आगे कहा कि फिलहाल शेखपुरा के अपर असैनिक चिकित्सा पदाधिकारी को ही वहां सिविल सर्जन की जिम्मेदारी दी गई है उन्होंने कहा कि सिविल सर्जन का पदस्थापन वरीयता के आधार पर किया जाता है संचिका बनने से लेकर अधिसूचना जारी होने तक एक महीना का समय लगता है.

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