NEWSPR डेस्क। बिहार पुलिस के लिए नए कप्तान की खोज शुरू हो गई है। बिहार का अगला डीजीपी कौन होगा? इस पर सरकार लगातार मंथन कर रही है। दरअसल, वर्तमान डीजीपी एसके सिंघल का कार्यकाल 19 दिसंबर को समाप्त हो रहा है। वैसे भी डीजीपी एसके सिंघल पिछले साल ही रिटायर हो चुके थे। वह एक्सटेंशन पर आगे का कार्यकाल कर रहे थे।
अब वो एक्सटेंशन भी 19 दिसंबर को समाप्त हो रहा है। बिहार सरकार को नए डीजीपी की जरूरत है। इसको लेकर कवायद शुरू हो चुकी है। सूत्रों की माने तो बिहार सरकार ने अपनी वरीयता प्राप्त 11 अधिकारियों के नाम केंद्र सरकार को भेज दिए हैं। अब इन 11 नामों में से तीन नाम केंद्र सरकार फाइनल करके भेजेगी।
आलोक राज
आपको बता दें कि बिहार कैडर के 11 डीजी रैंक के अधिकारियों की लिस्ट केंद्र सरकार को भेजी गई है। इसमें शोभा अहोतकर(1990), आलोक राज(1989), राजविंदर सिंह भट्टी(1990), मनमोहन सिंह(1988), विनय कुमार(1991), प्रीता वर्मा(1992), शील वर्धन सिंह(1986), ए के अम्बेडकर(1992), सीमा राजन(1987), प्रवीण वशिष्ठ(1991), अरविंद पांडेय(1988) शामिल हैं। सभी डीजी रैंक के अधिकारी हैं। सभी अधिकारियों का बैच 1986 से लेकर 1992 के बीच में है।
बिहार पुलिस के डीजीपी के लिए कम से कम 2 वर्ष का कार्यकाल होना चाहिए। सभी अधिकारी 2023 से लेकर 2026 के बीच में रिटायर होंगे। इसमें प्रीता वर्मा 2028 में रिटायर होंगी। इस लिहाज से सभी अधिकारी डीजीपी के लिए उपयुक्त हैं। यदि कम भी कार्यकाल रहा तो राज्य सरकार उसे बढ़ा देती है।
राजविंदर सिंह भट्टी
इन 11 अधिकारियों में केंद्र सरकार को 3 टॉप अधिकारी चुनकर राज्य सरकार के पास भेजना होता है। राज्य सरकार उन तीनों में से किसी एक अधिकारी को डीजीपी पद की जिम्मेदारी देती है। इस लिस्ट में सबसे ऊपर शोभा अहोतकर का नाम चल रहा है। दूसरे नंबर पर आलोक राज का नाम है। वही, आर एस भट्टी और मनमोहन सिंह तीसरे और चौथे नंबर पर हैं। राज्य सरकार को तय करना होगा कि इन चारों अधिकारियों में से किसी एक को पुलिस कप्तान बनाए।
शोभा अहोतकर को लेकर माना जाता है कि उनकी पुलिसिंग काफी कड़ी होती है। अनुशासन प्रिय अधिकारी है। महिला अधिकारी के रूप में उन्होंने काफी नाम कमाया है। अपराधियों के बीच में उनका खौफ रहा है। ऐसे में अभी के समय में बिगड़े कानून व्यवस्था को देखते हुए शोभा अहोतकर को इस पद के लिए सबसे उपयुक्त माना जा रहा है।
वहीं, आलोक राज बिहार कैडर के तेज तर्रार अधिकारी रहे हैं। इनकी पुलिसिंग काफी अलग रही है। यह मामलों को सलटाने में ज्यादा विश्वास रखते थे। ऐसे में नीतीश कुमार के यह भी पसंदीदा हो सकते हैं। आर एस भट्ठी और मनमोहन सिंह के पुलिसिंग भी अपने जमाने में रौबदार रही है।