दरभंगा, सहरसा और कटिहार में मखाना क्लस्टर विकसित करने की जिम्मेदारी अब आयडा यानी बुनियादी ढांचा विकास प्राधिकरण को सौंप दी गई है।यह निर्णय उद्योग विभाग की मुख्यमंत्री सूक्ष्म एवं लघु उद्योग क्लस्टर विकास योजना के तहत हुई राज्य स्तरीय समिति की हालिया बैठक में लिया गया। समिति ने तीनों जिलों के उद्योग केंद्र और जीविका को आवश्यक विवरण जल्द उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं।
कटिहार को सबसे ज्यादा बजट का आवंटन
मिली जानकारी के अनुसार
- दरभंगा मखाना क्लस्टर के लिए लगभग 1.98 करोड़ रुपये,
- सहरसा क्लस्टर के लिए करीब 2.34 करोड़ रुपये, और
- कटिहार क्लस्टर के लिए लगभग 2.50 करोड़ रुपये स्वीकृत किए गए हैं।
इन तीनों परियोजनाओं की मॉनिटरिंग एजेंसी जीविका (BRLPS) को बनाई गई है, जबकि प्रोजेक्ट के क्रियान्वयन का दायित्व आयडा के पास रहेगा।
समिति ने अब स्पेशल पर्पज व्हीकल (SPV) के रजिस्ट्रेशन, भूमि व्यवस्था और अन्य प्रारंभिक औपचारिकताएँ पूरी करने के निर्देश जारी कर दिए हैं।
बिहार में बनेंगे और भी उद्योग क्लस्टर
- लखीसराय में राइस मिल क्लस्टर स्थापित करने का प्रस्ताव बैठक में चर्चा का विषय रहा।
हालांकि इस पर अंतिम निर्णय अगली राज्य स्तरीय समिति बैठक के लिए टाल दिया गया है।
दूसरी ओर विधानसभा अध्यक्ष पद को लेकर भाजपा और जदयू के बीच खींचतान भी बनी हुई है।
जदयू का कहना है कि विधान परिषद का सभापति पद भाजपा के पास है, इसलिए विधानसभा अध्यक्ष पद उसे मिलना चाहिए।
वहीं भाजपा का तर्क है कि मुख्यमंत्री पद पहले ही जदयू के पास है, इसलिए स्पीकर पद भाजपा का हक बनता है।
मंत्रिमंडल गठन पर अंतिम दौर की बातचीत दिल्ली में जारी
जदयू नेता ललन सिंह और भाजपा नेता संजय झा इन दिनों दिल्ली में हैं और शीर्ष नेतृत्व से लगातार परामर्श कर रहे हैं।
मंत्रिमंडल का आकार, पदों का वितरण और नए चेहरों को शामिल करने पर अंतिम मंथन जारी है।
संकेत साफ हैं कि कुछ ही समय में अंतिम फैसला सामने आ सकता है।