NEWSPR डेस्क। बिहार का स्वास्थ्य महकमा गर्भवती महिलाओं को ग्रामीण क्षेत्र से अस्पताल तक निशुल्क एंबुलेंस की व्यवस्था से दभ क्यों न भर ले लेकिन हकीकत कुछ और ही है। एक परिवार को एंबुलेंस नहीं मिलने के कारण उनको अपनी गर्भवती बहू को ठेले पर लेकर सदर अस्पताल लाना पड़ा। गौरतलब है कि स्वास्थ्य विभाग एंबुलेंस की निशुल्क सेवा प्रदान करता है।
खास करके प्रसवपीड़ा या प्रसव से ग्रसित महिलाओं को अस्पताल तक लाने एवं प्रसव से पश्चात घर तक पहुंचाने के लिए स्वास्थ्य विभाग लाखों रुपए खर्च करती है और सरकार प्रचार-प्रसार भी करती है। जिसकी हकीकत कुछ और ही है। शहर का ये गरीब परिवार ठेले से लेकर गर्भवती महिला को लेकर अस्पताल पहुंचा। जिसके बाद महिला को अस्पताल में भर्ती करवाया गया।
बिहार में नदारद एंबुलेंस सेवा के कई किस्से अक्सर सामने आते रहते। इसे स्वास्थ्य विभाग की लापरवाही भी बताई जाती है। ऐसी कई तस्वीर सामने आती रहती जहां विभाग पर सवाल उठाया जाता है। पहले भी कई लोग शव को उठाकर ठेले से और पैदल ले जाते दिखे हैं। लोगों को एंबुलेंस सेवा नहीं मिलने से काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है।
औरंगाबाद से रूपेश की रिपोर्ट