NEWSPR डेस्क। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने आज नई दिल्ली के विज्ञान भवन में साइबर सुरक्षा और राष्ट्रीय सुरक्षा पर राष्ट्रीय सम्मेलन (साइबर अपराध से आजादी – आजादी का अमृत महोत्सव) को संबोधित किया। कार्यक्रम में केन्द्रीय गृह सचिव सहित गृह मंत्रालय और केन्द्रीय संस्कृति मंत्रालय के कई वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित थे।
इस अवसर पर गृह मंत्री ने कहा कि देश के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने आज़ादी के अमृत महोत्सव से लेकर देश की आज़ादी की शताब्दी तक के 25 साल के कालखंड को अमृत काल कहा है। इस अमृत काल के दौरान हर क्षेत्र में देश को दुनिया में सर्वोच्च स्थान पर पहुंचाने के लिए कई मंत्रालयों, विभागों द्वारा कई कार्यक्रम बनाए गए हैं। इसके लिए हमारे सामने क्या चुनौतियां हैं, इन पर विचार करने का भी ये समय है और ये करने के बाद 25 साल का एक कार्यक्रम हर विभाग, मंत्रालय बनाए।
उन्होंने कहा कि130 करोड़ लोगों का संकल्प बल ही भारत को सर्वोच्च स्थान पर पहुंचाने का ज़रिया बन सकता हैं। अमित शाह ने कहा कि आज के युग में साइबर सुरक्षा के बिना भारत के विकास की कल्पना करना संभव नहीं है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के इनीशिएटिव से ही आज भारत हर क्षेत्र में आगे बढ़ रहा है। अगर हम साइबर सुरक्षा को सुनिश्चित नहीं करते हैं, तो हमारी यही ताक़त हमारे लिए बहुत बड़ी चुनौती बन जाएगी। इसीलिए डिजिटल रिवॉल्यूशन के ज़माने में साइबर सुरक्षा कीचुनौतियां और उनके समाधान को ढूंढने और हर व्यक्ति तक साइबर सुरक्षा की जानकारी पहुंचाने के लिए इस कार्यक्रम का आयोजन किया गया है।
शाह ने कहा कि अगर 200 साल का दुनिया के रिवॉल्यूशन का एनालिसिस करें तो स्टीम इंजिन से इसकी शुरूआत हुई, फिर इलेक्ट्रिकल एनर्जी से इन्फ़ॉर्मेशन टेक्नोलॉजी तक आए और अब डिजिटल क्रांति की ओर बढ़ रहे हैं। अगर भारत को इस क्षेत्र में आगे बढ़ना है तो साइबर सुरक्षित भारत का निर्माण करना होगा। उन्होंने कहा कि आज प्रधानमंत्री जी का विज़न है कि हर भारतीय को तकनीक और इंटरनेट के माध्यम से अपने आप को सशक्त करना चाहिए। डिजिटल इंडिया कार्यक्रम के कारण सशक्तिकरण होने के साथ-साथ सकारात्मक परिवर्तन भी लोगों के जीवन में आया है।