डेस्क। बिहार में यूं तो घोटाले की कई खबर आती रहती है जिस पर लंबे समय तक कार्रवाई चलती है। यही कारण है कि घोटालेबाज बेहिचक कई घोटाले को चुपके से अंजाम देते रहते हैं। लेकिन अब ऐसा नहीं होगा क्योंकि बिहार सरकार ने ऑडिट के स्वरूप में बड़ा बदलाव कर दिया है। बिहार में अब एक 11 तरह की ऑडिट करवाई जाएगी। यानि कि आने वाले समय में घोटालेबाजों के लिए बाजी मारना मुश्किल होने वाला है। बिहार सरकार ने इसे लेकर कमर कस तैयारी कर ली है।
बता दें कि 2021 में प्रदेश में अंकेक्षण संहिता लागू होगा। यानी ऑडिट के लिए नया मैनुअल लागू किया जाएगा। इसका स्वरूप तैयार कर लिया गया है। राज्य सरकार ने 11 तरह के ऑडिट का प्रावधान इस नए ड्राफ्ट में किया है। सरकार के सूत्रों की मानें तो कैबिनेट में जल्द ही इस प्रस्ताव पर मुहर भी लग सकती है। सीएजी की रिपोर्ट में लगातार कई तरह की वित्तीय गड़बड़ी समेत अन्य तरह के मामले सामने आते रहे हैं। इन सभी पर इस नई ऑडिट पॉलिसी से लगाम लग पाएगी।
बिहार सरकार ने वित्तीय प्रक्रिया को ज्यादा पुख्ता बनाने के लिए इस नई तकनीक का सहारा लेने का फैसला किया है। जिससे सरकार के खजाने में सेंध लगाने वाले घोटाले बाजों को रास्ता मिलना मुश्किल हो जाएगा। बिहार सरकार द्वारा 11 तरह की ऑडिट के लिए जो ड्राफ्ट तैयार किया गया है, उसमें फॉरेंसिक ऑडिट, ट्रांजैक्शन ऑडिट, सिस्टम ऑडिट, जोखिम आधारित ऑडिट, प्री ऑडिट, कंप्लायंस ऑडिट, परफारमेंस ऑडिट, आईटी ऑडिट, रिसोर्स ऑडिट, आउटकम ऑडिट, और कमर्शियल ऑडिट शामिल है। नई ऑडिट पॉलिसी से घोटाला करने वाले आसानी से कानून की जद में आ पाएंगे जिससे उनके अंदर खौफ पैदा होगा।