राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग ने राजस्व से संबंधित कार्यों की बेहतर समीक्षा को देखते हुए जिला अधिकारियों की रैंकिंग की

Patna Desk

बिहार के सभी समाहर्ता( DM) की भी रैंकिंग जारी करने की व्यवस्था शुरू हुई है. राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग ने राजस्व संबंधित कार्यों की बेहतर समीक्षा एवं प्रगति की देख-रेख के लिए जिला पदाधिकारी सह समाहर्ताओं की रैंकिंग करने का निर्णय किया है. विभाग ने सितंबर माह से इसकी शुरूआत की है. य़ह रैंकिंग पहली बार जारी की गई है.

पहली रैंकिंग में बांका के जिलाधिकारी( समाहर्ता) ने पहला स्थान पाया है,जबकि अररिया के जिलाधिकारी सूबे के सबसे फिसड्डी डीएम साबित हुए हैं.राजस्व एवं भूमि सुधार विभाग की तरफ से बताया गया है कि सभी जिलों के समाहर्ता के कार्य मूल्यांकन प्रतिवेदन में भी इस रैंकिंग को जोड़ा जाना प्रस्तावित है. विभाग को उम्मीद है कि सभी समाहर्ता अब राजस्व संबंधित कार्यों में अधिक अभिरुचि लेंगे और तीव्र निष्पादन सुनिश्चित कराएंगे.

विभाग के सचिव जय सिंह ने कहा कि समाहर्ताओं के राजस्व कार्यों की य़ह रैंकिंग हर महीने जारी होगी.डीएम की रैंकिंग में बांका पहले नंबर पर है. जबकि दूसरे नंबर पर शेखपुरा के जिलाधिकारी हैं. सिवान डीएम को तीसरा, सुपौल चौथा, औरंगाबाद जिलाधिकारी को पांचवा रैंक मिला है. नालंदा छठा, कैमूर सातवां, जहानाबाद आठवां, बेगूसराय नौवां, भोजपुर 10, पूर्णिया के जिलाधिकारी को 11 वां स्थान मिला है. बक्सर 12, सीतामढ़ी 13, वैशाली 14 ,दरभंगा 15, समस्तीपुर 16, मुंगेर 17, मुजफ्फरपुर 18, सारण 19, किशनगंज 20, पूर्वी चंपारण 21, अरवल 22, भागलपुर 23, जमुई 24, लखीसराय 25, गया 26, मधुबनी 27, शिवहर 28, खगड़िया 29, मधेपुरा 30, गोपालगंज 31, कटिहार 32, रोहतास 33, पटना 34, नवादा 35, पश्चिम चंपारण 36, सहरसा 37 और अररिया के जिलाधिकारी को 38 वां स्थान मिला है.

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