NEWSPR DESK- मुंगेर में जहां एक और विश्वकर्मा पूजा की धूम है तो दूसरी ओर भगवान विष्णु को समर्पित पर्व अनंत चतुर्दशी को धूमधाम से मनाया जा रहा है । जिसको ले मंदिरों और ठाकुड़बारी के अलावा भी पुजारी के समक्ष लोगों का भीड़ लगा हुआ है जहां सभी अनंत चतुर्दशी का के कथा का श्रवण कर पूजा करते दिखे ।
युवक और युवतियों ने उपवास रखकर कलश पर अष्टदल कमल की तरह बने बर्तन में कुश से निर्मित अनंत की स्थापना कर भगवान विष्णु की पूजा अर्चना किया। पूजा के बाद अनंत सूत्र को बाजू में बाधा गया। वहीं आचार्य राजकिशोर झा ने बताया कि पौराणिक मान्यता के अनुसार महाभारत काल से अनंत चतुर्दशी व्रत की शुरुआत हुई। यह भगवान विष्णु का दिन माना जाता है। अनंत भगवान ने सृष्टि के आरंभ में चौदह लोकों की रचना की थी। इन लोकों का पालन और रक्षा करने के लिए वह स्वयं भी चौदह रूपों में प्रकट हुए थे, जिससे वे अनंत प्रतीत होने लगे। इसलिए अनंत चतुर्दशी का व्रत भगवान विष्णु को प्रसन्न करने और अनंत फल देने वाला माना गया है। इस दिन भगवान विष्णु को पूजा अर्चना करने से भक्तों की सभी मनोकामना पूर्ण होती है ।