बिहार में बेरोजगारी चरम पर, राज्य की जनता को बरगलाया रहे बिहार के बड़े नेता- आशुतोष कुमार

Sanjeev Shrivastava

पटना: भूमिहार-ब्राह्मण एकता मंच द्वारा बुधवार को मंच के राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष जयकांत वत्स और प्रदेश कार्यकारी अध्यक्ष विकास प्रसून उर्फ भल्ला को बनाया गया। इस मौके पर पटना में आयोजित संवाददाता सम्‍मेलन में भूमिहार-ब्राह्मण एकता मंच के अध्यक्ष आशुतोष कुमार ने बिहार में बेरोजगारी की समस्‍या को लेकर सत्ता और विपक्ष पर जोरदार हमला बोला।

उन्‍होंने कहा कि कांग्रेस के बाद बीते 30 सालों में जेपी–लोहिया–कर्पूरी के अनुयायियों ने प्रदेश की जनता को सिर्फ बरगलाने का काम किया है। उन्‍होंने कहा कि ये बेहद दुखद है कि दूसरे प्रदेशों में काम करने वाले बिहार के लोगों को बिहार में प्रवासी कहा गया, जबकि वे प्रवासी दूसरे प्रदेश में थे ना कि अपने प्रदेश बिहार में। ऐसे लोगों का आंकड़ा सरकार 20 लाख बता रही है, जो सही मायने में देखा जाये जो 40 लाख से अधिक है। रोजगार का दावा करने वाली प्रदेश की मौजूदा सरकार इस संकट में पूरी तरह बेनकाब हुई है।

उन्‍होंने कहा कि नशा मुक्ति, दहेज बंदी, जल– जीवन-हरियाली जैसे मुद्दों पर सरकारी खर्च कर मानव श्रृंखला बनाने वाली सरकार के मुंह पर कोरोना के दौरान तमिलनाडू वाया दिल्‍ली से बिहार तक बनी मानव श्रंखला एक जोरदार तमाचा है। यह बेहद दुर्भाग्‍यपूर्ण था। आशुतोष ने कहा कि आज जब कुछ महीने में चुनाव होने वाले हैं, तब सत्ता में बैठे लोग पेपर में ये छपवाते हैं कि वे 50 हजार लोगों को रोजगार देंगे। वे 15 सालों से कहां थे। हम युवा उनसे पूछना चाहते हैं कि क्‍या उनके पास कोई रोड मैप है रोजगार के लिए। हमारे पास रोड मैप है। बिहार में छोटे मंझौले उद्योग – धंधे स्‍थापित किये बिना बेरोजगारी कम नहीं हो सकती। क्‍या उनके पास भी रोड मैप है, जो इनदिनों प्रदेश में ‘बेरोजगारी भगाओ यात्रा’ पर निकाले हैं। आखिर बेरोजगारी की फैक्‍टरी उनके मां–पिता ने ही लगाया।

उन्होंने कहा कि वहीं, ‘बिहारी फर्स्‍ट’ का नारा लेकर घूमने वाले के पास भी कोई रोड मैप है क्‍या। उनकी पार्टी के एजेंडे में बिहार से परिवार फर्स्‍ट है। मगर हम बिहार को हुनर मंद और रोजगार युक्‍त बनाने के लिए लक्ष्‍य के साथ आगे बढ़ रहे हैं। और ये हमारी जिद्द है। संवददाता सम्‍मेलन में सुनील कुमार शर्मा, पुष्कर नारायण, नरेंद्र शर्मा उपस्थित थे।

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