NEWSPR डेस्क। वैज्ञानिक और लेखक टी.आर. शेषाद्री की आज जयंति है। इस मौके पर जदयू ट्रेडर्स प्रकोष्ठ के पूर्व प्रदेश उपाध्यक्ष संजीव श्रीवास्तव ने विनम्र श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए उन्हें याद किया।
टी.आर. शेषाद्रि भारत के कार्बनिक रसायन शास्त्र के जाने-माने वैज्ञानिक और लेखक थे। भारतीय औषधीय और अन्य पौधे के ऊपर अनुसंधान के लिए ये विश्व प्रसिद्ध थे। इनका पूरा नाम प्रो.तिरुवेंकट राजेंद्र था। महान रसायन शास्त्री टी.आर. शेषाद्रि का जन्म 3 फरवरी 1900 ई. में तमिलनाडु में तिरुचिरापल्ली जिले के कुलीथलाई गांव में हुआ था। उस वक्त यह ब्रिटिश भारत के मद्रास प्रेसीडेंसी के अंतर्गत आता है। उन्होंने स्नातकोतर अर्थात एमएसी की पढ़ाई मद्रास विश्व विद्यालय से किया। इस दौरान उन्होंने दो शोध पुरस्कार, कर्जन पुरस्कार और विलियम वेडरबर्न पुरस्कार जीते। इस दौरन वे अपने अद्भुत प्रतिभा के बल पर छात्रवृति प्राप्त करने में कामयाब रहे। शेषाद्रि जी भारत में रसायन विज्ञान को बढ़ावा देने में उल्लेखनीय योगदान माना जाता है। उन्होंने आंध्र-विश्वविद्यालय में रसायन विज्ञान संकाय के प्रमुख रहते हुए कई प्रयोगशालाओं और विभागों की स्थापना की। साथ ही यहाँ पर शोध विद्यालय की स्थापना में उनका महत्वपूर्ण योगदान रहा। उन्होंने दिल्ली विश्वविद्यालय से जुडने के उन्होंने कई नये शोध संस्थान की स्थापना में अग्रणी भूमिका निभाई।
देश के अनेकों विश्वविध्यालय ने टी.आर. शेषाद्रि को मानद डॉक्टरेट की उपाधि प्रदान की। भारत सरकार ने रसायन विज्ञान में महती योगदान और देश का नाम रौशन करने लिए 1963 में पद्म भूषण से सम्मानित किया।